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Subrat SaurabhAuthor of Kuch Woh Palधर्म, काल, कर्म, माया प्रकृति के चार मूल तत्व है इन तत्वों का ज्ञान आप के मोक्ष कि प्राप्ति का मार्ग हो सकता है यही हिंदू सूत्र का मूल आधार है। हिंदू सूत्र चार स्तंब पर टीका हुआ है, ये चार स्तंभ धर्म, माया, अध्यातम तथा भगवान् है, हिंदू सूत्र मे इन चार तत्वों कि ही सूत्र रुप मे व्याख्या कि गयी है। प्रकृति, पुरूष व आत्मा कि तुलना शिव, विष्णु व ब्रह्म से की गई है। धर्म व सत्य किसी भी साहित्य व कथन के मुल गुण होते है तथा हिन्दु सुत्र लिखने का मुल लक्ष्य ही समाज मे धर्म व सत्य कि समझ का विस्तार करना है। मानव माया को समझ कर अपनी चिंता का नाश कर सकता है; मानव चिंता के नाश का अस्त्र ही हिन्दु सुत्र है।
उदय पांडल
लेखक ने राजकीय अभियांत्रिकी महाविद्यालय , बीकानेर से यांत्रिकी की शिक्षा प्राप्त की है। वे हिंदू परंपराओ और विचारधारा के मूल स्त्रोत के प्रति समर्पित है और समाज मे आ रही बुराई को समझने कि क्षमता रखते है। उनका आलोचना व विरोध से युक्त सवभाव है, जिससे उनका नजरिया ओर भी मजबुत होता है।
लेखक के प्रेरणास्त्रोत बर्बरीक और कबीर है। बर्बरीक का कमजोर वर्ग का साथ देना तथा धर्म व अधर्म कि उलझन से दुर रहने वाला स्वभाव उनको बर्बरीक का भक्त बनाता है। कबीर का आलोचना व विरोध से युक्त निडर स्वभाव उनको कबीर का भक्त बनाता है।
लेखक का प्रलय मे विश्वास उनको शिव भक्त बनाता है। वे सूर्य देव को अपना गुरु मानते है ,सुर्य देव कि सत्य रूपी चमक उनको सबसे ज्यादा प्रभावित करती है।
लेखक ने हिंदू सूत्र को अथक प्रयास के बाद लिखा है जो उनके नजरिए की अलग प्रवति का प्रमाण है। उन्होंने ने अखिल भारतीय सिविल सेवा की तैयारी के लिए वर्षों तक मेहनत की है। उनका निवास स्थान नीम का थाना, राजस्थान मे है जिसे ब्रह्म वृत के रूप मे भी जाना जाता है।
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